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Friday, April 25, 2025

पत्नी से पीड़ित हो कर हार मानने वाले पुरुषो के लिए प्रेरणा बन गये "ललित शर्मा"

पति ने खुद जुटाए 500 से अधिक सबूत:
पत्नी ने लगाया दहेज प्रताड़ना और मगपीठ का गंभीर आरोप! 

Writer : Sushant Patil Storyteller

Disclaimer : इस ब्लॉग में इस्तेमाल की गयी सारी फोटो हमारी खुद की बनायी हुई और खुद के फेसबुक पेज "Sushant Patil Storyteller" व्हिडिओस से लिये है जिनके लिंक ऊपर दिये हैं...!

पत्नी ने अपने पति पर दहेज प्रताड़ना के गंभीर आरोप लगाए। पति को जब लगा कि उसे इस झूठे केस में जेल जाना पड़ेगा तो उसने अपनी बेगुनाही साबित करने के लिए खुद ही इन्वेस्टिगेशन किया। 500 से ज्यादा सबूत जुटाए जिससे वो बेकसूर साबित हो सके।

जो पुरुष पत्नी पीड़ित हैं उनको इस कहानी से प्रेरणा मिलेगी इसलिये अंत तक पढ़े...! 

आइये कहानी को विस्तार में समझते हैं..! 

आइए जानते हैं दहेज प्रताड़ना के केस का सामना करने वाले ललित शर्मा की कहानी उन्हीं की जुबानी...

कहानी की शुरुआत 29 जनवरी 2017 से होती है। इसी दिन मेरी और उज्जैन के महिदपुर की रहने वाली युवती से लव विथ अरेंज मैरिज हुई थी, जिसका खर्च मेरे परिवार ने उठाया। 29 दिसंबर 2017 को मैं एक बेटी का पिता बनता हूं। सब ठीक ठाक चल रहा था। छोटा सा परिवार दूसरे राज्यों में घूमने भी जाता था। पत्नी भी गर्मियों में मायके जाती थी। साल 2023 में भी उसने बेटी के स्कूल की छुट्‌टी का हवाला देकर मायके जाने की बात की, तो मैंने रिजर्वेशन करा दिया और खुद जयपुर-भोपाल ट्रेन में बैठाने स्टेशन गया।


पत्नी के चचेरे भाई ने कमरे में बंद कर मारा पत्नी 3 अप्रैल 2023 को मायके पहुंच गई। मेरी 15 अप्रैल तक फोन पर बात होती रही। 6 अप्रैल को बात करके 18 अप्रैल को वापसी का टिकट भी कटवा लिया और मैंने मोबाइल पर पत्नी को सेंड भी कर दिया। 16 अप्रैल से पत्नी ने बात करनी बंद कर दी और 17 अप्रैल को फोन पर साफ कर दिया कि अब कॉल मत करना। मैं अब अजमेर नहीं आऊंगी। उसी रात मैंने मुख्यमंत्री और उज्जैन के पुलिस अधीक्षक को ट्वीट किया कि परिवार को बिखरने से बचा लें।

मैं एक भाई और एक दोस्त के साथ 18 अप्रैल को जावरा ताल होते हुए शाम 5 बजे महिदपुर पहुंचा। उस समय पत्नी और बेटी मायके में नहीं थे। पूछने पर बताया कि उज्जैन गई हैं। फिर मुझे एक कमरे में बैठा दिया गया और कहा कि 3 माह बाद बेटी को भेजेंगे। पत्नी के चचेरे भाई ने मुझे मारा और पत्नी को भेजने से इनकार कर दिया। डायल-100 को भी बुला लिया। पुलिस कर्मियों ने हमें वापस जाने को कहा तो मैं अजमेर लौट आया।

पत्नी ने लगाए मारपीट के आरोप, एफआईआर कराई 19 अप्रैल 2023 को मेरे और बुजुर्ग माता-पिता के खिलाफ आईपीसी की धारा 498ए, 323, 294, 506, 34 और दहेज प्रतिषेध अधिनियम की धारा 3 और 4 के तहत एफआईआर कराई गई। मुझ पर आरोप लगाया गया कि मैंने अजमेर और बाद में उज्जैन जाकर पत्नी से मारपीट की।

ऐसे गंभीर आरोप लगते ही कोई दुसरा होता तो डर के गलत कदम उठाता... पर ललित ने हिम्मत नही हारी...! 

ललित ने मुलाखत में बताया... 

एफआईआर की सूचना मुझे 23 अप्रैल को तब मिली, जब उज्जैन महिला थाने के जांच अधिकारी ने आधार कार्ड लेकर 26 अप्रैल को थाने बुलाया। थाने में मुझे दस्तावेज के प्रिंट और फोटो दिखाए गए। जब मैंने कहा कि धारा 498 में बगैर जांच के कोर्ट में चालान कैसे पेश किया जा सकता है तो पुलिस ने कहा- सबूत कोर्ट में दिखाना।

डीआईजी से मिले, तब शुरू हुई जांच मैं तत्कालीन डीआईजी अनिल कुशवाह के पास पहुंचा और निष्पक्ष जांच की मांग की। 12 पेज का आवेदन और मारपीट न करने के सबूत भी दिए। इसके बाद सब इंस्पेक्टर मानसिंह झाला को जांच सौंपी गई। इस जांच के दौरान मैंने 500 से अधिक सबूत (डिजिटल एविडेंस, फोटो-वीडियो, परिवार वालों के बयान) पुलिस को उपलब्ध कराए।

पत्नी ने कहा कि उसे घर से निकाला गया तो मैंने अजमेर के अभय कमांड सेंटर से CCTV फुटेज लेकर उच्च अधिकारियों को सौंपे। इनमें स्पष्ट रूप से दिख रहा था कि मैंने पत्नी और बेटी को रेलवे स्टेशन छोड़ा, पुलिस को गूगल लोकेशन भी उपलब्ध कराई। इसके अलावा पत्नी के मायके जाने के बाद के ऑडियो, वीडियो रिकॉर्डिंग, वॉट्सऐप चैट्स और फोन कॉल्स के स्क्रीनशॉट्स, पत्नी द्वारा मायके में होने वाली कॉल्स का पिछले 6 महीने का रिकॉर्ड, 2017 से 2023 घटना की तारीख तक की वॉट्सऐप चैट्स और फोटोग्राफ्स शादी के बाद पति-पत्नी के खुशहाल जीवन के वीडियो और तस्वीरें भी उपलब्ध कराए।

इन सबूतों के आधार पर मामला पलट गया और पुलिस ने मेरे पक्ष में कोर्ट में रिपोर्ट पेश की है।
जांच अधिकारी को दिया धन्यवाद पत्र मामले की निष्पक्ष जांच के लिए ललित शर्मा ने एसपी उज्जैन की मौजूदगी में जांच अधिकारी सब इंस्पेक्टर मानसिंह झाला को धन्यवाद पत्र सौंपा। इतना ही नहीं, मुख्यमंत्री, डीजीपी, कलेक्टर और आईजी उज्जैन को पत्र लिखकर जांच अधिकारी को सम्मानित करने का अनुरोध किया है।

तो दोस्तो क्या लगता हैं आपको? कौनसी सजा अदालत पत्नी को देगी? या फिर इतना सब प्रयास करके भी ललित को जेल जाना पड़ेगा? आपके विचार जरूर बताए..! 

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